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नई दिल्ली. साल 1992 में रिलीज हुई 'कल की आवाज' (Kal Ki Awaz) फिल्म भले ही बॉक्स ऑफिस पर अपना कमाल नहीं दिखा पाई थी. हालांकि शूटिंग के दौरान इस फिल्म ने चहुंओर सुर्खियों बटोरी थीं. इस फिल्म में धर्मेन्द्र, राज बब्बर, अमृता सिंह और प्रतिभा सिन्हा को बतौर लीड रोल में देखने को मिला था.
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इस फिल्म को बलदेव राज चोपड़ा और रवि चोपड़ा ने निर्मित और निर्देशित किया था. पिता-पुत्र जोड़ी ने पहली बार इस फिल्म का किया था लेकिन ये फिल्म बॉक्स ऑफिस पर अच्छा प्रदर्शन नहीं कर सकी थी.
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कहा जाता है कि यह फिल्म है, जिसके सेट पर अमृता सिंह -प्रतिभा सिन्हा की जमकर लड़ाई हुई थी. ये लड़ाई मीडिया तक जा पहुंची थी. इसका सीधा असर फिल्म के बॉक्स ऑफिस पर कलेक्शन पर पड़ा.
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imdb.com trivia के अनुसार, इस फिल्म की पहली पसंद पूजा भट्ट थीं. लेकिन वह किसी और फिल्म में बिजी थी इसलिए वह इस फिल्म को डेट्स नहीं दे पाई थीं. पूजा के मना करने के बाद 70 के दशक की बेहद खूबसूरत एक्ट्रेस माला सिन्हा की बेटी प्रतिभा सिन्हा को साइन किया गया था.
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जैसा की फिल्म की कहानी के अनुसार दो हीरोइनों की जरूरत थी तो, पहली हीरोइन अमृता सिंह थीं. अमृता उन दिनों की डिमांडिंग एक्ट्रेस थीं. वहीं दूसरी हीरोइन प्रतिभा थीं. रिपोर्ट के अनुसार, अमृता अपने नियम के प्रति सख्त थीं. वह टाइम पर आतीं और टाइम पर जाती थीं. हालांकि प्रतिभा सिन्हा ठीक इसके विपरित थीं. उन्हें फिल्म के सेट पर अक्सर लेट आने की आदत हो गई थी. उनके लेट आने की वजह से अक्सर अमृता को काफी परेशानी होती थी.
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एक दिन प्रतिभा सिन्हा और अमृता सिंह के बीच सेट पर इसी बात को लेकर बहुत बड़ी झड़प हुई. एक दिन प्रतिभा बहुत देर से पहुंची थीं. इस पर अमृता सिंह ने उनसे कहा, 'क्या यह आने का समय है?' . प्रतिभा को अमृता सिंह की बातें काफी बुरी लगीं और वे इसे अपने दिल पर ले लीं. उन्हें लगा अमृता ने उनका अपमान किया है. ऐसे में वह इस कहानी को लेकर मीडिया में गईं और खूब चर्चा बटोरी. बाद में इस पर अमृता सिंह से सफाई देते हुए इन बातों को सिरे खारिज कर दिया लेकिन मीडिया को इसकी हवा मिल गई थीं.
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बाद में इसका सीधा असर फिल्म के बॉक्स ऑफिस कलेक्शन पर पड़ा. बड़े-बड़े सितारों से भरी ये फिल्म बॉक्स ऑफिस पर असफल साबित हुई. इस बात से धर्मेंद्र भी काफी आहत हुए थे.